बढ़ती जरूरतों और स्मार्ट टेक्नोलॉजी ने home care को भविष्य का इलाज बना दिया है
क्यों बढ़ रही है home health care services की मांग?
- बुजुर्ग आबादी में वृद्धि: भारत में 60+ उम्र के लोगों की संख्या 14 करोड़ के करीब है (2023 अनुमान)।
- हॉस्पिटल्स में भीड़ और इंफेक्शन का डर
- Post-COVID behavior change: लोगों में ‘घर पर इलाज’ को लेकर भरोसा बढ़ा
- स्मार्ट उपकरण और ट्रेनिंग से सेवाएं अब भरोसेमंद
घर पर इलाज के क्या-क्या विकल्प हैं?
Nurse at home
Physiotherapy at home
Doctor visit at home
Palliative & end-of-life care
किन रोगों में home care ज्यादा कारगर है?

- स्ट्रोक के बाद रिकवरी
- पोस्ट-ऑपरेटिव केसेज
- बुजुर्ग मानसिक भ्रम/डिमेंशिया
- क्रॉनिक श्वसन रोग (COPD, अस्थमा)
- पोस्ट कोविड लंग्स/हार्ट मॉनिटरिंग
- Mobility Disorders
- Long-term diabetes care
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Home Health Care Services : भारत में प्रमुख कंपनियाँ कौन सी हैं?
Portea Medical
Nightingales Home Health
HealthCare atHOME (HCAH)
Zoctr
क्या हैं चुनौतियाँ और सावधानियाँ?
- प्रमाणित स्टाफ की कमी: कई सेवाओं में quality और license की समस्या
- उपकरणों की विश्वसनीयता: कई बार खराब मॉनिटरिंग इक्विपमेंट परेशानी बढ़ा सकते हैं
- ऑनलाइन फ्रॉड्स: नकली वेबसाइट्स या ठगों द्वारा ‘नर्स भेजने’ के नाम पर ठगी
- बीमा दायरे में नहीं आना: अधिकतर health insurance plans अभी home care को कवर नहीं करते
Home Health Care Services : सरकार और बीमा कंपनियों की भूमिका
- कुछ कंपनियों ने अब home hospitalization (डॉक्टर की सलाह पर) को कवर करना शुरू किया है।
- आयुष्मान भारत जैसी योजनाओं में भी भविष्य में इसे शामिल करने की संभावना है।
- टेलीमेडिसिन और डिजिटल स्वास्थ्य रिकॉर्ड से home care को सरकार सपोर्ट कर रही है।
विशेषज्ञों की सलाह
“घर पर इलाज तभी प्रभावी होता है जब caregiver प्रशिक्षित हो, उपकरण प्रमाणित हों और इलाज का स्पष्ट प्रोटोकॉल हो।”— डॉ. समीर श्रीवास्तव, कंसल्टेंट
निष्कर्ष: अब इलाज आपके दरवाजे पर
FAQ : अक्सर पूछे जान वाले प्रश्न
Q1. क्या घर पर इलाज के लिए डॉक्टर से ऑनलाइन सलाह लेना काफी होता है?
नहीं, हर स्थिति में टेली-कंसल्टेशन पर्याप्त नहीं होता। यदि मरीज को बुखार, ब्लड प्रेशर या डाइबिटीज़ जैसी आम समस्याएं हैं, तो शुरुआती सलाह ऑनलाइन ली जा सकती है। लेकिन गंभीर लक्षण जैसे सांस लेने में तकलीफ, लगातार उल्टी या बेहोशी के मामले में घर पर शारीरिक जांच और डायग्नोस्टिक सुविधा जरूरी हो जाती है। ऐसे में प्रमाणित home care provider से संपर्क करना बेहतर विकल्प होता है।
Q2. क्या health insurance policy में home health care सेवाएं शामिल होती हैं?
अधिकतर पारंपरिक हेल्थ इंश्योरेंस प्लान्स में home care को कवर नहीं किया जाता, लेकिन अब कुछ कंपनियां “home hospitalization” की शर्तों पर कवरेज देने लगी हैं, बशर्ते कि डॉक्टर की सिफारिश हो और इलाज 72 घंटे से ज़्यादा का हो। बीमा लेते समय “domiciliary hospitalization” शब्द पर जरूर ध्यान दें।
Q3. भारत में home health care services किस आयु वर्ग के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद हैं?
हालांकि home care किसी भी उम्र के लिए उपयोगी हो सकती है, लेकिन 60+ उम्र के बुज़ुर्ग, chronic illness वाले मरीज, और post-surgery रिकवरी कर रहे लोग इसके सबसे बड़े लाभार्थी हैं। बच्चे और mobility limited मरीज भी इस सुविधा का सुरक्षित लाभ उठा सकते हैं, बशर्ते caregivers प्रशिक्षित हों।
Q4. क्या home health care services केवल महानगरों तक सीमित है?
फिलहाल भारत की ज्यादातर home care कंपनियां केवल metro cities या बड़े शहरों तक सीमित हैं, जैसे: दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, चेन्नई, हैदराबाद आदि। हालांकि कुछ प्लेटफ़ॉर्म्स जैसे Portea और Zoctr ने tier-2 शहरों जैसे लखनऊ, नागपुर और जयपुर तक सेवाएं पहुंचाई हैं। सरकार और स्टार्टअप्स की कोशिश है कि आने वाले समय में यह सेवा ग्रामीण क्षेत्रों में भी सुलभ हो सके।
Q5. home health care services चुनते समय किन बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए?
एक अच्छी home care सेवा चुनते समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखें:
कंपनी प्रमाणित और रजिस्ट्रर्ड हो
स्टाफ के पास आवश्यक प्रशिक्षण और अनुभव हो
24×7 सपोर्ट सिस्टम मौजूद हो
प्रमाणित उपकरणों का प्रयोग हो (BP monitor, glucose meter, pulse oximeter आदि)
कंपनी की user reviews और client testimonials अच्छे हों
सेवा की बीमा और कानूनी वैधता स्पष्ट हो