दूसरे ग्रहों पर Dinosaurs तलाशेंगे वैज्ञानिक
Dinosaurs : वैज्ञानिकों के एक दल ने यह दवा किया है कि डायनासोर जीवित हो सकते हैं। रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसायटी जर्नल की मासिक पत्रिका में वैज्ञानिकोें ने यह दावा किया है कि विशालकाय प्रजाति पृथ्वी से दूर किसी दूसरी ग्रह पर जीवित हो सकते हैं।
इस अध्ययन को लिसा कैटलेनेगर ने किया हैं। वैज्ञानिक का कहना है कि पहले हम दूसरे ग्रहों पर जीवन की तालाश में पृथ्वी से प्राप्त साक्ष्यों को ही आधार बनाते थे लेकिन अब कई ऐसी तकनीक मौजूद है, जिससे दूसरे ग्रहों पर मौजूद नई प्रजातियों का पता लगाया जा सकता है।
इस अध्ययन में यह कहा गया है कि वैज्ञानिक दूसरे ग्रहों पर ऐसे संभावित जीवन के होने की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। डायनासोर (Dinosaurs) जैसे प्रणियों की खोज के लिए सबसे पहले वैसे पदार्थों की खोज करनी होगी, जो वर्तमान में पृथ्वी पर नहीं पाए जाते लेकिन जुरासिक काल में पृथ्वी पर उपलब्ध थे।
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ऑक्सीजन हो सकता है महत्वपूर्ण फैक्टर
अध्ययन में यह पता चला है कि डायनासोर युग में पृथ्वी पर ऑक्सीजन का स्तर वर्तमान से कहीं अधिक था। यह फैक्टर अन्य ग्रहों पर जटिल जीवन के अस्तित्व को समझने में सहायता कर सकता है। डायनासोर युग में पृथ्वी पर ऑक्सीजन का स्तर लगभग 30 प्रतिशत अधिक था। इस वजह से यहां जटिल जीवों को पनपने का मौका मिला था। जबकि, वर्तमान समय में पृथ्वी पर ऑक्सीजन का स्तर 21 प्रतिशत तक सीमित रह गया है।
विशाल टेलिस्कोप से भी मिल सकती है मदद
दूसरे ग्रहों पर डायनासोर जैसी प्रजातियों की खोज में पृथ्वी पर एडवांस और अत्याधुनिक दूरबीन का इस्तेमाल भी किया जा सकता है। इस अभियान की शुरूआत उन ग्रहों से भी की जा सकती है, जो वर्तमान में अपने फ़ैनरोज़ोइक चरण (बिल्कुल शुरुआती) में हो। वैज्ञानिकों का ऐसा मानना है कि यदि कोई ग्रह फ़ैनरोज़ोइक चरण में होगा तो वहां का वातावरण बड़े और जटिल जीवन रूपों के पनपने के अनुकूल हो सकता है। यह डायनासोर के अस्तित्व के लिए एक संभावित स्रोत साबित हो सकते हैं।
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अधिक ऑक्सीजन वाले ग्रहों पर हो सकते हैं Dinosaurs
शोधकर्ता कैटलेनेगर के मुताबिक, “ ऐसे जीवों की तालाश के लिए एक और तरीका भी है। ऐसे ग्रहों का पता लगाना होगा, जहां ऑक्सीजन उच्च स्तर पर हो। उच्च स्तर की ऑक्सीजन वाले ग्रहों पर ऐसे जीवन की संभावना हो सकती है। यह तरीका खोज को कुछ आसान बना सकता है।